विश्व और भारतीय इतिहास की प्रमुख घटनाएं Part -1, - Study Search Point

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विश्व और भारतीय इतिहास की प्रमुख घटनाएं Part -1,

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  • 7000 ई.पू. राजस्थान (सांभर) में पौधे बोने के प्रथम साक्ष्य।
  • 6000 ई.पू. मेहरगढ़ (सिंध-बलूचिस्तान सीमा), बुर्ज़होम (कश्मीर) में भारत के प्राचीनतम आवास, कृषि तथा पशुपालन के अवशेष।
  • 5000–4000 ई.पू. बागोर (भीलवाड़ा) तथा आदमगढ़ (होशंगाबाद) के निकट आखेटकों द्वारा भेड़-बकरी पालन के प्रथम अवशेष।
  • 4000–3000 ई.पू. खेतिहारों-पशुपालकों की स्थानीय सभ्यताएँ।
  • 2500 ई.पू. सिंधु घाटी में पूर्व-हड़प्पा सभ्यता के नगरों का विकास, अस्थि एवं प्रस्तर उपकरण तथा मनकों के आभूषण के अवशेष।
  • 2500–1750 ई.पू. रेडियो-कार्बन तिथि-निर्धारण के आधार पर हड़प्पा सभ्यता का काल-विस्तार।
  • 2250–2000 ई.पू. हड़प्पा सभ्यता का पूर्ण-विकसित दौर, विघटन तथा स्थानीय सभ्यताओं का उदय।
  • 1500 ई.पू. भारत में आर्यों का आगमन, ऋग्वेद की रचना, वैदिक काल (1500-1000) प्रारम्भ, गंगा मैदान में आर्योत्तर ताम्र सभ्यता।
  • 1000 ई.पू. आर्यों का (गंगा मैदान) विस्तार, उत्तर वैदिक काल प्रारम्भ, 'ब्राह्मण ग्रन्थों' की रचना, वर्ण व्यवस्था का बीजारोपण, लौह धातु का प्रयोग प्रारम्भ।
  • 950 ई.पू. महाभारत का युद्ध।
  • 800 ई.पू. महर्षि व्यास के द्वारा महाभारत महाकाव्य की रचना, आर्यों का दक्षिण-पूर्व (बंगाल) की ओर विस्तार, रामायण का प्रथम वृत्तान्त।
  • 600–550 ई.पू. उपनिषदों की रचना, आर्यों का विदर्भ तथा गोदावरी तक दक्षिण-विस्तार। सोलह महाजनपदों की स्थापना, आर्य सभ्यता में कर्मकाण्डीय अनुष्ठान प्रतिष्ठित।
  • 563–483 ई.पू. बौद्ध धर्म के संस्थापक गौतम बुद्ध का जीवन काल, जन्म-लुम्बिनी, मृत्यु-कुशीनगर।
  • 599–257 ई.पू. जैन धर्म के पुनर्प्रतिष्ठापक वर्धमान महावीर का काल (जन्म-कुन्डग्राम, वैशाली), मृत्यु-पावापुरी, कुशीनगर।
  • 544–492 ई.पू. गौतम बुद्ध के समकालिक बिम्बिसार (हर्यक वंश) का राज्यकाल, मगध राज्य की श्रेष्ठता।
  • 517–509 ई.पू. अख़ामनी वंश (ईरान) के सम्राट डेरियस प्रथम के साथ प्रथम विदेशी आक्रमण, आर्यों की पराजय, यूनानी नौसेनापति स्काइलैक्स द्वारा सिन्धु नदी पर गवेषण अभियान।
  • 492–460 ई.पू. बिम्बिसार के पुत्र अजातशत्रु का राज्यकाल।
  • 412–344 ई.पू. शिशुनाग वंश का शासनकाल, अवन्ति के प्रद्यौत वंश का मगध साम्राज्य में विलय।
  • 400 ई.पू. सम्पूर्ण दक्षिण भारत में आर्यों का प्रभुत्व एवं सम्भवतः श्रीलंका तक विस्तार।
  • 344 ई.पू. महापद्मनन्द द्वारा मगध में नंदवंश की स्थापना।
  • 326 ई.पू. नंद वंशी राजा घनानंद की सैन्य शक्ति से प्रभावित होकर सिकन्दर के सैनिकों का वापस लौटने का इरादा, वापसी मार्ग में बेबीलोन में सिकन्दर की मृत्यु।
  • 322 ई.पू. चंद्रगुप्त मौर्य द्वारा (कौटिल्य की मदद से) नंद शासक घनानंद को पराजित कर मौर्य वंश की स्थापना।
  • 315 ई.पू. 'इण्डिका' के लेखक तथा सेल्युकस (यूनानी शासक) के दूत मेगस्थनीज़ का भारत में आगमन।
  • 298–273 ई.पू. चन्द्रगुप्त मौर्य के पुत्र बिन्दुसार का राज्य काल।
  • 273–232 ई.पू. अशोक का शासनकाल, मौर्यवंश का स्वर्णयुग, अशोक के द्वारा कलिंग की विजय (262-61)।
  • 185 ई.पू. अन्तिम मौर्य शासक बृहद्रथ की हत्या कर मौर्य सेनापति पुष्यमित्र शुंग द्वारा शुंग वंश की स्थापना।
  • 190–171 ई.पू. यवन शासक डेमेट्रियस का राज्यकाल।
  • 165 ई.पू. कलिंग शासक खारवेल द्वारा 'त्रमिरदेश संघटम' (पाण्ड्य, चोल) राज्य पर विजय।
  • 155–130 ई.पू. सबसे प्रसिद्ध यवन शासक 'मीनांडर' ( भारतीय नाम 'मिलिन्द') का राज्यकाल।
  • 145 ई.पू. चोल राजा एलारा की श्रीलंका के शासक असेल पर विजय तथा लगभग 50 वर्षों तक शासन।
  • 128 ई.पू. यूची आक्रमण के भय से शक क़बीलों का भारत में पंजाब से प्रवेश।
  • 71 ई.पू. शुंग वंश के अन्तिम सम्राट देवभूति की हत्या, वसुदेव के द्वारा कण्व वंश की स्थापना।
  • 60 ई.पू. आन्ध्र में सिमुक द्वारा सातवाहन वंश की स्थापना।
  • 58 ई.पू. उज्जैन के शासक विक्रमादित्य द्वारा विक्रम संवत का प्रारम्भ।
  • 50 ई.पू. 'दक्षिण भारत' (दक्कन) में सातवाहन वंश शुरू।
  • 22 ई.पू. रोम के शासक आगस्टस के दरबार में पाण्ड्य राजदूत पहुँचा, चोल, पाण्ड्यों का रोम से व्यापारिक सम्बन्ध।
  • 14–13 ई. शक (हिन्द-पार्थियन) शासक गोंडोफ़ॅरस का शासन, ईसाई धर्म प्रचार हेतु रोमन संत सेंट टामस का भारत में आगमन।
  • 15 ई. कुषाणों (यूची का तोचारियन) का भारत में प्रवेश।
  • 64 ई. उत्तर-पश्चिमी भारत में शक विम कडफ़ाइसिस का राज्य।
  • 78 ई. कुषाण वंश के महानतम शासक कनिष्क का राज्यारोहण, उसके द्वारा शक संवत का प्रारम्भ।
  • 78–101 ई. कनिष्क का शासनकाल, चौथी बौद्ध संगीति का (कश्मीर में) आयोजन।
  • 100 ई. अश्वघोष द्वारा 'सौन्दरानन्द' तथा 'बुद्धचरित' एवं कुमारलाट के द्वारा 'कल्पमंदितिका' की रचना।
  • 100–200 ई. संगम युग, करिकाल का शासन (त्रिचरापल्लि के निकट कावेरी नदी पर सिंचाई बाँध का निर्माण)।
  • 109–132 ई. महानतम सातवाहन शासक गौतमीपुत्र शातकर्णी द्वारा राज्य विस्तार।
  • 150 ई. बघेलखण्ड, वाराणसी तथा आगे चलकर मथुरा तक के क्षेत्र में भारशिव नागाओं की विभिन्न शाखाओं का राज्य।
  • 200–250 ई. सातवाहनों का पतन, महाराष्ट्र में आभीर, उत्तरी कनारा तथा मैसूर ज़िलों में कुन्तल और कटु, आन्ध्र में इक्ष्वाकु तथा विदर्भ में वाकाटकों की सत्ता स्थापित।
  • 300–888 ई. कांची में पल्लवों का शासनकाल।
  • 225 ई. विंध्यशक्ति द्वारा वाकाटक शासन की स्थापना, अगले 272 वर्षों तक इस वंश का शासन।
  • 250 ई. नासिक में आभीरों द्वारा त्रैकुटकर वंश की स्थापना, अगले 250 वर्षों तक इस वंश का शान।
  • 320–335 ई. चन्द्रगुप्त प्रथम ने गुप्त वंश को स्थापित किया।
  • 325 ई. कृष्णा नदी के दक्षिण में पल्लव वंशी राज्य की स्थापना।
  • 335–376 ई. समुद्र गुप्त का शासन काल।
  • 330–375 ई. सम्पूर्ण उत्तर भारत में समुद्रगुप्त का शासन। पूर्व में असम, पश्चिम में काबुल, उत्तर में नेपाल तथा दक्षिण में पल्लवों तक, केवल उज्जैन स्वतंत्र (शक वंश के अधीन)।
  • 350 ई. मयूरशर्मन द्वारा कदम्ब वंश की स्थापना, जो अगले 200 वर्षों तक विद्यमान रहा।
  • 375–413 ई. चन्द्रगुप्त द्वितीय विक्रमादित्य द्वारा उज्जैन, मालवा तथा गुजरात पर विजय, राजधानी पाटलिपुत्र से अयोध्या और तत्पश्चात कौशाम्बी स्थानान्तरित, चीनी यात्री फ़ाह्यान का भारत आगमन।
  • 415–454 ई. कुमारगुप्त प्रथम का शासनकाल, नालन्दा में बौद्ध विहार तथा विश्वविद्यालय की स्थापना, हुणों के आक्रमण का ख़तरा।
  • 455–467 ई. स्कन्दगुप्त का शासनकाल, हूणों का भारत पर प्रथम आक्रमण तथा उनकी पराजय।
  • 477–496 ई. बुद्धगुप्त, गुप्तवंश का अन्तिम सम्राट, गुप्तवंश का विघटन प्रारम्भ।
  • 490–766 ई. सौराष्ट्र के बल्लभी क्षेत्र में 'मैत्रक' (सम्भवतः विदेशी मूल) आक्रामकों का शासन। (पश्चिम भारत)
  • 500–502 ई. हूणों के प्रथम शासक तोरमाण द्वारा भारत में राज्य स्थापना तथा मध्यवर्ती भाग (मालवा में एरण) तक उसका विस्तार।

  • 500–757 ई. पश्चिम तथा मध्य दक्कन में वातापी का प्रथम चालुक्य वंश।
  • 502–528 ई. तोरमाण का उत्तराधिकारी मिहिरकुल भारत में गुप्त शासक भानुगुप्त द्वारा पराजित, एरण पर गुप्तवंश का पुनः अधिकार, (510)।
  • 533 ई. मंदसौर के यशोधर्मन की मिहिरकुल पर विजय।
  • 540 ई. परवर्ती गुप्त तथा गुप्त वंश की मुख्य शाखा का अन्त।
  • 550–861 ई. मध्य राजपूताना में मध्य एशिया में आये हुए गुर्जर खानाबदोश दलों का शासन स्थापित। (पश्चिम भारत)
  • 600–1200 ई. मौखरि वंश के शासक यशोवर्मन की मृत्यु (752); उत्तर-मध्य पश्चिम तथा दक्षिण भारत में अनेक सामंतों के द्वारा स्वतंत्रता की घोषणा, अनेक छोटे-बड़े राज्यों का उदय, बंगाल में गौड़, खंग, वर्मन, पाल तथा सेन वंश, उज्जैन में गुर्जर-प्रतिहार, कन्नौज में प्रतिहार, उड़ीसा में भौम, भंज, सोम तथा पूर्वी गंग वंश, असम में भास्कर वर्मा, गुजरात में चालुक्य, धारा में परमार, नर्मदा-त्रिपुरी तथा उत्तर प्रदेश में कलचुरी, राजस्थान में 'चाहमान' (चौहान), बुंदेलखण्ड में चंदेल, कन्नौज में गहड़वाल, कश्मीर में कार्कोट, उत्पल तथा लोहार, अफ़ग़ानिस्तान- पंजाब में हिन्दू शाही वंश।
  • 606–647 ई. हर्ष (पुष्यभूति या कान्यकुब्ज वंश) का शासनकाल। चीनी बौद्ध यात्री ह्वेन त्सांग का भारत आगमन (630-44), बाणभट्ट ने 'हर्षचरित' की रचना की।
  • 630–970 ई. पूर्वी दक्कन में वेंगी के पूर्वी चालुक्यों का शासनकाल। (दक्षिण भारत)
  • 69 636–637 ई. ख़लीफ़ा उमर के समय में अरबों का भारत पर पहला अभिलिखित हमला। (दक्षिण भारत)
  • 643 ई. चीनी यात्री ह्वेनसांग की चीन वापसी। (दक्षिण भारत)
  • 647 ई. तिब्बत से कन्नौज आते हुए ह्वेनसांग पर किसी स्थानीय सामंत के द्वारा हमला। हर्षवर्धन की मृत्यु, ह्वेनसांग पर हमला। (दक्षिण भारत)
  • 674 ई. विक्रमादित्य प्रथम चालुक्य और पल्लव वंश के परमेश्वर वर्मा प्रथम शासक बने। (दक्षिण भारत)
  • 675–685 ई. तीसरे चीनी यात्री इत्सिंग का नालन्दा आवास। (दक्षिण भारत)
  • 700 ई. कन्नौज में यशोवर्मन (मौखरी वंश) सिंहासनारूढ़, संस्कृत के नाट्यकार भवभूति तथा प्राकृत कवि वाक्पतिराज को उसके राजदरबार में संरक्षण।
  • 700–900 ई. दक्षिण भारत में आलवारों (वैष्णव) का भक्ति आंदोलन, भक्ति संग्रह 'प्रबंधम्' की रचना।
  • 712 ई. मुहम्मद बिन क़ासिम के नेतृत्व में भारत पर प्रथम अरब आक्रमण, मैत्रक राज्य का पतन। (पश्चिम भारत), मुहम्मद बिन क़ासिम का सिन्ध पर आक्रमण, देवलगढ़ विजय, नेऊन की लड़ाई में हिन्दू राजा दाहिर की मृत्यु, क़ासिम की ब्राह्मणाबाद पर विजय।
  • 730 ई. कन्नौज में मौखरी शासक यशोवर्मन सिंहासनरुढ़।
  • 753–774 ई. ख़लीफ़ा मंसूर के काल में ब्रह्मगुप्त के 'ब्रह्म सिद्धान्त' तथा 'खण्डनखाड्य' का अल्फ़जारी द्वारा अरबी में अनुवाद।
  • 757–973 ई. मान्यखेत में राष्ट्रकूटों का शासनकाल। (दक्षिण भारत)
  • 740–1036 ई. उत्तर भारत में गुर्जर-प्रतिहारों का आधिपत्य, अरबों का प्रतिरोध। (उत्तरी भारत)
  • 746–974 ई. 'छाप' या 'छापौटकट्ट', गुर्जर क़बीले द्वारा 746 के आस-पास अन्हिलपुर (आनन्दपुर) की स्थापना, जो 15वीं शती तक पश्चिम भारत का प्रमुख नगर रहा।
  • 786–808 ई. ईरानी शासक ख़लीफ़ा हारून-अल-रशीद का शासनकाल, बरमस्क (एक मन्त्री) द्वारा भारत के अनेक वैद्यों, ज्योतिषियों, रसायनशास्त्रियों, विचारकों को बग़दाद बुलाकर उनसे इन विषयों के अनेक ग्रन्थों का अरबी में अनुवाद करवाया।
  • 824–924 ई. वैष्णव भक्ति काल
  • 831–1310 ई. चन्देलों द्वारा बुंदेलखण्ड में स्वतंत्र राज्य की स्थापना, अनेक विष्णु मन्दिरों और खजुराहों के मन्दिरों का भी निर्माण। (पश्चिम भारत)
  • 840–890 ई. सतलुज से नर्मदा नदी तक मिहिरभोज या भोज का शासन। (पश्चिम भारत)
  • 950–1200 ई. इंदौर के पास धारा में परमारों का राज्य, जिनमें मुंज (974-994) तथा भोज प्रसिद्ध राजा हुए, भोज ज्योतिष, काव्यशास्त्र, वास्तुकला तथा संस्कृति का विद्वान था। (पश्चिम भारत)
  • 973–1189 ई. कल्याणी का द्वितीय चालुक्य वंश। (दक्षिण भारत)
  • 974–1240 ई. चालुक्यों का अन्हिलपुर, सौराष्ट्र तथा आबू क्षेत्र में प्रभुत्व, चालुक्य शासक मूलराज का शासन काल (974-995)। (पश्चिम भारत)
  • 985–1014 ई. चोल शासक राजराज का शासनकाल, भूमि-सर्वेक्षण का प्रारम्भ (1000 ई.)। (दक्षिण भारत)
  • 986–87 ई. खुरासनी शासक अलप्तगीन के ग़ुलाम सुबुक्तगीन का काबुल-कंधार में हिन्दूशाही शासक जयपाल पर प्रथम आक्रमण, जयपाल पराजित।
  • 997–998 ई. सुबुक्तगीन की मृत्यु, महमूद ग़ज़नवी खुरासान की गद्दी पर बैठा।
  • 999 ई. बग़दाद के ख़लीफ़ा द्वारा महमूद ग़ज़नवी को स्वतंत्र शासक के रूप में मान्यता।
  • 1000 ई. महमूद ग़ज़नवी का भारत पर (काबुल में) प्रथम आक्रमण, स्थानीय जनता पर लूट तथा धर्म परिवर्तन।
  • 1002 ई. महमूद ग़ज़नवी का तीसरा आक्रमण, आनन्दपाल से युद्ध तथा उसकी पराजय।
  • 1010 ई. आनन्दपाल अपमानजनक शर्तों पर महमूद ग़ज़नवी का सामंत बना।
  • 1011–1012 ई. महमूद का थानेश्वर पर हमला, उत्तर-पश्चिम भारत में हिन्दूशाही वंश के छोटे-बड़े सभी राज्य ध्वस्त।
  • 1013 ई. आनन्दपाल की मृत्यु, पुत्र त्रिलोचनपाल उत्तराधिकारी बना।
  • 1014 ई. तोषी की लड़ाई में त्रिलोचनपाल परास्त, झेलम नदी तक का क्षेत्र महमूद गज़नवी के राज्य में सम्मिलित।
  • 1014–1044 ई. चोल राजा राजेन्द्र का शासनकाल, श्रीलंका की विजय (1018), बंगाल पर आक्रमण (1021)। (दक्षिण भारत)
  • 1017 ई. शंकराचार्य के मायावाद का खंडन कर 'विशिष्टाद्वैतवाद' मत की स्थापना करने वाले वैष्णव आचार्य रामानुज का जन्म।

  • 1018–1019 ई. महमूद गज़नवी का गंगा-यमुना दोआब क्षेत्र पर क़ब्ज़ा।
  • 1025–1026 ई. ग़ज़नवी के द्वारा सोमनाथ मन्दिर (गुजरात) की लूट।
  • 1026 ई. अन्तिम हिन्दूशाही शासक भीमपाल की मृत्यु, काबुल-कंधार के हिन्दूशाही वंश का अन्त।
  • 1027 ई. जाटों को कुचलने के लिए महमूद का भारत (गुजरात-सिन्ध) पर 17वाँ व अन्तिम आक्रमण।
  • 1030 ई. महमूद ग़ज़नवी की मृत्यु; मसूद ग़ज़नवी ग़ज़नी का सुल्तान, 'किताब-उल-हिन्द' के लेखक अलबरूनी का भारत आगमन।
  • 1043 ई. स्थानीय हिन्दू राजाओं का लाहौर पर पुनः अधिकार कर स्वाधीन राज्य स्थापित करने का प्रयास विफल।
  • 1044–52 ई. राजेन्द्र के उत्तराधिकारी राजाधिराज प्रथम का शासनकाल। (दक्षिण भारत)
  • 1052–64 ई. राजेन्द्र द्वितीय का शासनकाल। (दक्षिण भारत)
  • 1064–70 ई. वीर राजेन्द्र चोल का शासनकाल। (दक्षिण भारत)
  • 1070–1120 ई. कुलोत्तुंग प्रथम का शासनकाल, आन्ध्र का चोल साम्राज्य में विलेय (1076)। (दक्षिण भारत)
  • 1120–1267 ई. परवर्ती चोल शासकों का काल। (दक्षिण भारत)
  • 1131 ई. कर्नाटक में लिंगायत सम्प्रदाय के संस्थापक संत बासवेश्वर या 'बासव' का जन्म। (दक्षिण भारत)
  • 1137 ई. विशिष्टाद्वैतवाद के विचारक संत रामानुजाचार्य का देहान्त।
  • 1162 ई. द्वैतवादी वैष्णव संत निम्वार्क स्वामी का जन्म।
  • 1173 ई. मुइजुद्दीन मुहम्मद ग़ोरी ग़ज़नी का शासन बना।
  • 1167 ई. संत बासवेश्वर का निधन।
  • 1191 ई. तराइन के प्रथम युद्ध में राजपूत शासक पृथ्वीराज तृतीय के हाथों मुहम्मद ग़ोरी पराजित।
  • 1192 ई. तराइन के द्वितीय युद्ध में मुहम्मद ग़ोरी के हाथों पृथ्वीराज तृतीय की हार, ग़ोरी का ग़ुलाम कुतुबुद्दीन ऐबक भारत का सूबेदार नियुक्त, मेरठ एवं कौल (अलीगढ़) पर अधिकार।
  • 1192–1193 ई. दिल्ली पर कुतुबुद्दीन ऐबक का आधिपत्य।
  • 1199 ई. द्वैतवाद सम्प्रदाय के आचार्य महादेव मध्वाचार्य का जन्म।
  • 1200 ई. मुहम्मद ग़ोरी की मृत्यु।
  • 1206 ई. कुतुबुद्दीन ऐबक द्वारा 'दिल्ली सल्तनत' की स्थापना; दिल्ली सल्तनत पर शासन करने वाले प्रथम वंश- 'इल्बारी वंश' की स्थापना; क़ुतुबमीनार का निर्माण आरम्भ।
  • 1210 ई. कुतुबुद्दीन ऐबक की मृत्यु, आरामशाह उत्तराधिकारी बना।
  • 1211–1236 ई. इल्तुतमिश का शासनकाल, रणथम्भौर विजय (1226)।
  • 1221 ई. भारत पर चंगेज़ ख़ाँ का हमला।
  • 1228 ई. बग़दाद के ख़लीफ़ा से इल्तुतमिश को 'खिल्लत' अर्थात् इस्लामी शासक के रूप में मान्यता।
  • 1229 ई. प्रथम यूरोपीय यात्री मान्टे कैर्बनो (इटली) का भारत आगमन।
  • 1236 ई. इल्तुतमिश के उत्तराधिकारी रुकुनुद्दीन फ़ीरोज़शाह की मृत्यु, रजिया सुल्तान गद्दी पर बैठी।
  • 1239 ई. मलिक अल्तूनिया का विद्रोह।
  • 1240 ई. रजिया सुल्तान की हत्या।
  • 1241 ई. भारत पर मंगोलों का प्रथम आक्रमण।
  • 1246 ई. नसिरुद्दीन महमूद गद्दी पर आसीन, 1266 में उसकी मृत्यु।
  • 1253 ई. अमीर ख़ुसरो का जन्म।
  • 1266 ई. ग़यासुद्दीन बलबन गद्दी पर बैठा।
  • 1279 ई. महाराष्ट्र में संत सम्मेलन का आयोजन।
  • 1279 ई. बंगाल में तुगरिल ख़ाँ का विद्रोह।
  • 1286 ई. ग़यासुद्दीन बलबन की मृत्यु।
  • 1288–1293 ई. प्रसिद्ध वेनिश यात्री मार्को पोलो की भारत यात्रा।
  • 1290 ई. जलालुद्दीन ख़िलजी दिल्ली का सुल्तान, ख़िलजी वंश की स्थापना।
  • 1294 ई. अलाउद्दीन ख़िलजी का देवगिरि अभियान।
  • 1295–1316 ई. अलाउद्दीन ख़िलजी दिल्ली का सुल्तान, राज्य-विस्तार अभियान प्रारम्भ; गुजरात (1299), रणथम्भौर (1301), चित्तौड़ (1303), मालवा (1305), मलिक काफ़ूर के नेतृत्व में दक्कन अभियान, 1320-1325-अलाउद्दीन की मृत्यु

  • 1320–1325 ई. ग़यासुद्दीन तुग़लक़ (गाज़ी मलिक) दिल्ली का सुल्तान बना, तुग़लक़ वंश की स्थापना, काकतीय तथा पाण्ड्यों के राज्य का दिल्ली सल्तनत में विलय (1321-1323)।
  • 1325 ई. ग़यासुद्दीन की मृत्यु, मुहम्मद बिन तुग़लक़ गद्दी पर आसीन, अमीर ख़ुसरो की मृत्यु, फैंसिस्कन पादरी आडोरिक ऑफ़ पोर्डेनॉन की भारत यात्रा।
  • 1326–1327 ई. मुहम्मद तुग़लक़ द्वारा दिल्ली से दौलताबाद राजधानी का स्थानान्तरण।
  • 1330 ई. मुहम्मद तुग़लक़ द्वारा प्रयोग के तौर पर सोने के स्थान पर ताँबे के सिक्के जारी किए गए।
  • 1333 ई. अफ़्रीकी यात्री इब्नबतूता की भारत यात्रा।
  • 1336 ई. हरिहर एवं बुक्का द्वारा विजयनगर राज्य की स्थापना।
  • 1342 ई. इब्नबतूता का चीन को प्रस्थान।
  • 1347 ई. बहमनशाह के द्वारा बहमनी राज्य की स्थापना।
  • 1350 ई. विद्यापति का जन्म, संत नामदेव का निधन।
  • 1351 ई. मुहम्मद तुग़लक़ की मृत्यु, फ़िरोज़ शाह तुग़लक उत्तराधिकारी बना।
  • 1351–1388 ई. सुल्तान फ़िरोज़ शाह तुग़लक का राज्यकाल, बंगाल अभियान (1353-54, 1359, 1369), कांगड़ा विजय (1360-61), थट्टा विजय (1371-72), फ़िरोज की मृत्यु।
  • 1388–1414 ई. परवर्ती तुग़लक़ शासकों का शासनकाल।
  • 1398 ई. तैमूर लंग का भारत पर आक्रमण, दिल्ली पर अधिकार, भारत में अराजकता।
  • 1399 ई. दिल्ली सल्तनत का विघटन प्रारम्भ, सूबेदारों द्वारा स्वतंत्र राज्यों की स्थापना, दिल्ली-दोआब में इक़बाल ख़ाँ, गुजरात में जफ़र ख़ाँ, सिंध-मुल्तान में ख़िज़्र ख़ाँ, महोबा-काल्पी में महमूद ख़ाँ, कन्नौज अथवा बिहार में ख़्वाजा जहान, धारा (इन्दौर) में दिलावर ख़ाँ, समन में ग़ालिब ख़ाँ, बयाना में शख़्स ख़ाँ तथा ग्वालियर में भीमदेव द्वारा स्वतंत्र राज्य स्थापित।
  • 1411–42 ई. अहमदशाह बहमनी द्वारा अहमदाबाद की स्थापना एवं स्वतंत्रता की घोषणा।
  • 1412 ई. अन्तिम तुग़लक़ शासक महमूद की मृत्यु, तुग़लक़ वंश का पतन।
  • 1414 ई. दिल्ली पर ख़िज़्र खाँ का अधिकार।
  • 1429 ई. बहमनी राज्य की राजधानी गुलबर्गा से बीदर स्थानान्तरित।
  • 1430–69 ई. मेवाड़ में राणा कुम्भा का राज्यकाल।
  • 1442 ई. अब्दुर्रज्जाक़ की विजयनगर यात्रा।
  • 1447 ई. बहलोल लोदी का दिल्ली पर अधिकार, लोदी वंश की स्थापना।
  • 1450 ई. गोरखनाथ की साखियों की रचना।
  • 1455 ई. प्रसिद्ध संत कबीर का जन्म।
  • 1469 ई. सिक्ख धर्म के संस्थापक गुरुनानक देव का ननकाना (पंजाब) में जन्म।
  • 1470 ई. रूसी यात्री निकितिन की भारत यात्रा।
  • 1472 ई. शेरशाह सूरी का जन्म।
  • 1479 ई. बल्लभाचार्य का जन्म।
  • 1483 ई. जहीरूद्दीन बाबर का फ़रगना में जन्म।
  • 1485 ई. चैतन्य महाप्रभु का जन्म।
  • 1486 ई. पुर्तग़ाली नाविक सरदार बार्थोलोम्यो डिआज डेनोवेज ने 'केप ऑफ़ गुड होप' (शुभ यात्रा अंतरीप) की खोज की, इसी मार्ग से बाद में वास्कोडिगामा ने भारत की यात्रा की।
  • 1489 ई. सिकन्दर लोदी गद्दी पर आसीन, बीजापुर स्वाधीन।
  • 1490 ई. दिल्ली सल्तनत से अहमदनगर स्वाधीन।
  • 1493 ई. बंगाल में हुसैनशाह गद्दी पर आसीन, बाबर फ़रगना का अमीर बना।
  • 1498 ई. पुर्तग़ाली नाविक वास्कोडिगामा भारत में, कालीकट पहुँचा।
  • 1502 ई. पुर्तग़ाल के राजा जॉन द्वितीय को पोप अलेक्जेंडर षष्टम का 'बुल' प्रदान किया गया, जिससे पुर्तग़ालियों को भारत के साथ व्यापार करने का एकाधिकार तथा भारत में राज्य स्थापित करने का औपचारिक अधिकार मिला।
  • 1503 ई. फ़रगना बाबर के अधिकार से मुक्त।
  • 1504 ई. इटली के लुडोविको डी बार्थेमा की पश्चिम तथा दक्षिण भारत की यात्रा, काबुल पर अधिकार कर बाबर का मुल्तान की ओर प्रस्थान।
  • 1507 ई. गुजरात के शासक महमूद बेगड़ा का दीव (गोवा) में पुर्तग़ालियों के विरुद्ध अभियान।
  • 1508 ई. द्वितीय मुग़ल सम्राट हुमायूँ का जन्म।
  • 1509 ई. विजयनगर में कृष्णदेवराय सिंहासनरूढ़, पुर्तग़ाली गवर्नर फ़्रांसिस्को-द-अल्मेडा भारत आया।
  • 1509–1527 ई. मेवाड़ में राणा सांगा का राज्यकाल।
  • 1510 ई. गोवा पर पुर्तग़ालियों का अधिकार, अलबुकर्क गवर्नर बना।
  • 1512–1518 ई. गोलकुण्डा बहमनी राज्य से मुक्त।
  • 1517 ई. सिकन्दर लोदी की मृत्यु के पश्चात् इब्राहिम लोदी गद्दी पर बैठा।
  • 1519 ई. बाबर का भारत आगमन।
  • 1520 ई. बाबर का भीरा, सियालकोट पर आक्रमण।
  • 1522 ई. बाबर का कंधार पर अधिकार।
  • 1523 ई. लाहौर और सरहिन्द पर बाबर का आक्रमण, लाहौर पर अधिकार (1524)।
  • 1526 ई. (21 अप्रैल) बाबर तथा इब्राहिम लोदी के मध्य पानीपत का प्रथम युद्ध, इब्राहीम लोदी की पराजय तथा मृत्यु, दिल्ली पर क़ब्ज़े के साथ ही मुग़ल साम्राज्य की स्थापना।
  • 1527 ई. राणा संग्राम सिंह तथा बाबर के मध्य खानवा का युद्ध (16 मार्च), संग्राम सिंह पराजित।
  • 1528 ई. राणा संग्राम सिंह की मृत्यु, बाबर ने सहयोग के बदले शेरशाह को सासाराम (बिहार) की पैतृक जाग़ीर वापस की।
  • 1530 ई. बाबर की मृत्यु (29 मई), विजयनगर के राजा कृष्णदेव राय की मृत्यु (26 दिसम्बर)।
  • 1531 ई. गुजरात के बहादुरशाह का मालवा तथा उज्जैन पर अधिकार।
  • 1532 ई. रायसेन, चंदेरी एवं मंदसौर पर बहादुरशाह का अधिकार तथा चित्तौड़ पर पहला हमला।
  • 1533 ई. बहादुरशाह ने चित्तौड़ का घेरा उठाया, रणथम्भौर तथा अजमेर पर अधिकार, वैष्णव संत चैतन्य का निधन।
  • 1534 ई. हुमायूँ का मालवा को प्रस्थान, शेरशाह ने सूरजगढ़ के युद्ध में बंगाल के शासक महमूद शाह को परास्त किया।
  • 1535 ई. पुर्तग़ालियों की सहायता से बहादुरशाह का चित्तौड़ पर अधिकार, हुमायूँ से बहादुरशाह पराजित, हुमायूँ की गुजरात तथा मालवा पर विजय।
  • 1536 ई. हुमायूँ ने अस्करी को गुजरात का शासक नियुक्त किया, गुजरात में मुग़लों के विरुद्ध विद्रोह।

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