भूगोल : दर्रे और घाटियाँ - Study Search Point

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भूगोल : दर्रे और घाटियाँ

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निति दर्रा
निति दर्रा समुद्र तल से 5068 मीटर की ऊँचाई पर स्थित है। यह दर्रा उत्तराखंड को तिब्बत से जोड़ता है। शीत ऋतु में यह दर्रा बर्फ से ढका रहता है, जिस कारण नवंबर से मध्य मई तक यह आवागमन के लिए बंद रहता है। धौलीगंगा नदी उत्तराखंड के चमोली ज़िले में निति दर्रे से 5,070 मीटर (16,630 फीट) की ऊँचाई से निकलती है।

थांग ला दर्रा
थांग ला लद्दाख स्थित दर्रा है। यह समुद्र तल से लगभग 5,328 मीटर (17,480 फीट) की ऊँचाई पर स्थित है। खारदुंग ला के बाद परिवहन योग्य यह भारत का दूसरा सबसे ऊँचा दर्रा है।

खारदुंग ला दर्रा 
खारदुंग ला दर्रा अथवा 'खारदोंग ला दर्रा' हिमालय स्थित एक दर्रा है। यह समुद्र तल से लगभग 5602 मीटर (18,380 फीट) की ऊँचाई पर स्थित है।

यह परिवहन योग्य भारत और संभवतः विश्व का सबसे ऊँचा दर्रा है, परन्तु इसकी ऊँचाई विवादित भी है। लद्दाख क्षेत्र में लेह के पास स्थित यह दर्रा 'श्योक' और 'नुब्रा' घाटियों को जोड़ता है। यहाँ पर कई मोटर साइकिल और पहाड़ों के बाइक अभियान होते हैं। खारदुंग ला दर्रा मध्य एशिया में कशगर को लेह से जोड़ने वाला ऐतिहासिक मार्ग भी है। आधुनिक तकनीकों से खारदुंग ला दर्रे की ऊंचाई 5,359 मीटर (17,582 फीट) मापी गई है।

ट्रेल्स दर्रा
ट्रेल्स दर्रा उत्तराखंड के पिथौरागढ़ और बागेश्वर ज़िलों में समुद्र तल से 5212 मीटर (17,100 फुट) की ऊँचाई पर स्थित है। यह दर्रा 'नंदा देवी' और 'नंदा कोट' चोटियों के बीच स्थित है। पिंडारी हिमनद के कगार पर स्थित यह दर्रा पिंडारी घाटी को मिलाम घाटी से जोड़ता है। खड़ी ढाल और विषम सतह के कारण इस दर्रे को पार करना काफ़ी मुश्किल भरा है।


मंगशा धुरा दर्रा


मंगशा धुरा दर्रा उत्तराखण्ड राज्य के पूर्व में स्थित सीमान्त नगर पिथौरागढ़ में स्थित है। यह दर्रा समुद्र तल से लगभग 5674 मीटर (18615 फीट) की ऊँचाई पर स्थित है। पिथौरागढ़ स्थित यह दर्रा उत्तराखंड को तिब्बत से जोड़ता है। मानसरोवर की यात्रा के लिए यात्रियों को इस दर्रे से भी गुजरना पड़ता है। यहाँ पर्यटकों एवं तीर्थ यात्रियों के लिए भूस्खलन एक बड़ी समस्या है।


ख़ुंजराब दर्रा
ख़ुंजराब दर्रा (Khunjerab ) (ऊँचाई 4,693 मीटर (15,397 फ़ुट)) काराकोरम पर्वतमाला में स्थित एक दर्रा है। यह पाक अधिकृत कश्मीरके गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और चीन द्वारा नियंत्रित शिंजियांग प्रान्त के बीच स्थित है।

यह दर्रा समुद्र तल से 4,693 मीटर (15,397 फीट) की ऊँचाई पर स्थित है। कराकोरम श्रेणी का यह दर्रा लद्दाख और चीन के सिक्यांग प्रान्त को जोड़ने वाला परंपरागत दर्रा है। ख़ुंजराब दर्रा शीत ऋतु में बर्फ से ढका रहता है। इस दर्रे का नाम वाख़ी भाषा से लिया गया है। इसके अर्थ पर मतभेद है। या तो इसका अर्थ 'ख़ून की वादी' है या फिर 'ख़ान की वादी'।


बोरासु दर्रा
बोरासु दर्रा अथवा 'बारासु दर्रा' हिमाचल प्रदेश में हिमालय की पहाड़ी में स्थित है। यह दर्रा चीन के साथ सीमा के निकट 5,450 मीटर (17,881 फीट) की ऊंचाई पर महान हिमालय पर्वत में स्थित है। बोरासु दर्रा उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश को जोड़ता है। उच्च ऊंचाई पर स्थित यह दर्रा अदभुत दून घाटी और किन्नौर घाटी के बीच एक पुराना व्यापार मार्ग था।

लनक ला दर्रा 
लनक ला दर्रा अक्साई चिन (लद्दाख) में 5466 मीटर (17933 फीट) की ऊँचाई पर स्थित है। यह दर्रा लद्दाख को ल्हासा से जोड़ता है। चीन ने यहाँ एक सड़क का निर्माण किया है, जो उसके सिक्यांग प्रान्त को तिब्बत से जोडती है। अक्साई चिन इस क्षेत्र के दक्षिणी-पश्चिमी सीमा पर है। लनक ला भारत और चीन के बीच का विवादित क्षेत्र भी है।


रुपिन दर्रा 

रुपिन दर्रा उत्तराखंड में रुपिन नदी के पार स्थित है। यह दर्रा उत्तराखंड में धौला से शुरू होता है और हिमाचल प्रदेश में सांगला में समाप्त होता है। निर्जन रुपिन दर्रा हिमालय की पर्वतमाला में 4650 मीटर (15,250 फीट) की ऊंचाई पर स्थित है। इस दर्रे में गहरी अंधेरी घाटियों, बर्फीले ढलानों और क्षेत्रों से होकर गुजरना पड़ता है।

लिखापनी दर्रा
लिखापनी दर्रा अरुणाचल प्रदेश में 4000 मीटर से भी अधिक की ऊँचाई पर स्थित है। यह दर्रा अरुणाचल प्रदेश राज्य को म्यांमार से जोड़ता है। व्यापार एवं यातायात के लिए यह वर्ष पर्यन्त काम करने वाला दर्रा है।


पेंजी ला दर्रा

पेंजी ला दर्रा हिमालय स्थित एक पहाड़ी दर्रा है। यह दर्रा कश्मीर घाटी को कारगिल (लद्दाख) से जोड़ता है। यह दर्रा ज़ोजिला दर्रे के पूर्व में, समुद्र तल से लगभग 4,400 मीटर (14,436 फीट) की ऊँचाई पर स्थित है। दर्रा कश्मीर घाटी को कारगिल (लद्दाख) से जोड़ता है। पेंजी ला दर्रे को जास्कर पर्वत श्रेणी के लिए प्रवेश द्वार के रूप में जाना जाता है। यह जास्कर घाटी क्षेत्र को सुरु घाटी क्षेत्र से जोड़ता है। शीत ऋतु में यह दर्रा बर्फ से ढक जाता है, जिस कारण नवंबर से मध्य मई तक यह आवागमन के लिए बंद रहता है। प्रसिद्ध 'रंगदुम मठ' यहाँ से लगभग 25 कि.मी. दूर स्थित है।

काराताघ दर्रा
काराताघ दर्रा कराकोरम पर्वत श्रेणी में समुद्र तल से लगभग 5295 मीटर (17372 फीट) की ऊँचाई पर स्थित है। यह दर्रा इतिहास प्रसिद्ध प्राचीन रेशम मार्ग की एक शाखा था। शीतकाल में यह बर्फ से ढका रहता है।

चंशल दर्रा 
चंशल दर्रा हिमाचल प्रदेश के शिमला ज़िले में दोदरा क्वार और रोहड़ू को जोड़ता है। यह शिमला की सबसे ऊंची पर्वत चोटी पर 4520 मीटर (14,830 फुट) की ऊंचाई पर स्थित है।

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