1450- पुर्तग़ाल के नाविक बारथोलोमियु डेयाज़ का जन्म हुआ। उन्होंने सन 1488 ईसवी में एटलांटिक महासागर की महत्वपूर्ण यात्रा की जिसके दस वर्ष बाद उनके स्वदेशी नाविक वास्को डीगामा ने डेयाज़ के जलमार्ग का प्रयोग करके भारत के जलमार्ग की खोज की। इस मार्ग की खोज पश्चिमी देशों के लिए इस लिए महत्वपूर्ण थी क्योंकि उसमानी शासन ने 1453 में कुस्तुनतुनिया पर अधिकार करके योरोप से एशिया के मार्ग को बंद कर दिया था।
1559- एलिजाबेथ (प्रथम) इंग्लैंड की साम्राज्ञी बनीं।
1610- इतालवी खगोलविद, भौतिकविद एवं गणितज्ञ गैलीली गैलिलियो ने बृहस्पति के चौथे उपग्रह कैलिस्टो की खोज की।
1889-असम में युवाओं ने अपनी साहित्यिक पत्रिका 'जोनाकी का प्रकाशन शुरु किया।
1941- ईसवी को द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान योरोप के संयुक्त देशों ने लंदन में एक महत्वपूर्ण ऐतिहासिक सम्मेलन का आयोजन किया। चर्चिल के सुझाव पर यह सम्मेलन हुआ था। इसका उद्देश्य इटली और जर्मनी के मुक़ाबले में युद्ध के मोर्चों पर योरोपीय देशों के राष्ट्राध्यक्षों की नीतियों को समन्वित करना था । इस सम्मेलन में ब्रिटेन, हॉलैंड, बेल्जियम, फ़्रांस, ग्रीस नार्वे, लग्ज़म्बर्ग और डेनमार्क ने भाग लिया था।
1963- टोगों के राष्ट्रपति सिलवेनस ओलिम्पियो की एक सैनिक विद्रोह में हत्या कर दी गयी। यह विद्रोह निकोलस ग्रुनिज़्की नामक सेनाधिकारी ने कराया था। इसके तीन वर्ष बाद ठीक उसी दिन ग्रुनिज़्की को एयाडेमा नामक सैनिक अधिकारी ने अपदस्थ कर दिया।
1948-हिंदू और मुस्लिमों के बीच सांप्रदायिक सौहार्द्र बनाये रखने के लिये महात्मा गांधी ने कलकत्ता (अब कोलकाता) में आमरण अनशन शुरू किया।
1992- अलजीरिया के तत्कालीन राष्ट्रपति शाज़ली बिन जदीद के अपने पद से हटने के बाद सैनिकों ने सरकारी उच्च परिषद का गठन किया। इस परिषद का अध्यक्ष मोहम्मद बूज़ियाफ़ को बनाया गया और वे अलजीरिया के राष्ट्रपति भी बने। उन्होंने वर्ष 1991 के संसदीय चुनावों के परिणामों को निरस्त कर दिया जिनमें इस्लामी मुक्तिमोर्चे को सफलता मिली थी। सेना ने अलजीरिया संकट को नियंत्रित करने के उद्देश्य से बूज़ियाफ़ को राष्ट्रपति बनाया था किंतु वे इसमें सफल न हो सके। क्योंकि उन्होंने इस देश के इस्लामी संगठनों को आतंकवादी घोषित करके उनका दमन आरंभ कर दिया जिससे राजनैतिक संकट हिंसा में परिवर्तित हो गया।